नई दिल्ली। संसद की सुरक्षा में सेंध लगाने के आरोप में गिरफ्तार नीलम वर्मा के बारे में कई चौकाने वाले खुलासे हो रहे हैं। संसद भवन के बाहर स्मोक केन से रंगीन धुआं फैलाने वाली गांव घसो खुर्द निवासी नीलम के बारे में सभी प्रकार की जानकारी जींद पुलिस जुटा रही है। दूसरी तरफ, खुफिया विभाग भी इसी काम में लगा हुआ है। नीलम का किन-किन लोगों से संपर्क था और वह कहां पर आती-जाती थी, सभी प्रकार की जानकारी पुलिस हासिल कर रही है।
संसद भवन के बाहर हंगामा करने वाली हिसार के पीजी में रहने वाली नीलम के तार क्रांतिकारी विद्यार्थी संगठन से जुड़े हैं। इसे इन आरोपियों ने ही बनाया है। डीएसपी सज्जन सिंह ने बृहस्पतिवर को पीजी में पहुंच कर युवतियों से बातचीत की तो पता चला कि नीलम क्रांतिकारी विचारों की थी। नीलम के कमरे में रखीं कुछ किताबें भी इस ओर इशारा करती हैं। पुलिस प्रशासन ने हालांकि कुछ भी कहने से इन्कार किया है। पुलिस ने नीलम के पीजी वाले कमरे को सील कर दिया है। सीसीटीवी कैमरे का रिकॉर्ड कब्जे में ले लिया है। पुलिस कर्मचारियों को तैनात किया गया है। बाहरी लोगों के पीजी में जाने पर भी रोक लगा दी गई है। पीजी में रहने वाली युवतियों ने बताया कि नीलम सतलोक आश्रम संचालक रामपाल की अनुयायी है। युवतियों का कहना है कि उसके पास रामपाल से संबंधित किताबें भी देखी थीं। जानकारी के अनुसार नीलम का पीजी में आने और जाने का कोई समय निर्धारित नहीं था। वह 25 नवंबर की सुबह पीजी आई थी और दोपहर बाद 2 बजे चली गई।
संयुक्त किसान मोर्चा जींद के गांव घसो खुर्द निवासी नीलम के समर्थन में उतर आया है। उचाना के तहसील कार्यालय में मोर्चा की जिला इकाई की पंचायत में दाड़न, माजरा समेत अन्य खापों से जुड़ें नेता शामिल हुए और नीलम को तुरंत रिहा करने की मांग की। उधर, संसद भवन के बाहर स्मोक केन से रंगीन धुआं फैलाने वाली गांव घसो खुर्द निवासी नीलम के बारे में सभी प्रकार की जानकारी जींद पुलिस जुटा रही है। दूसरी तरफ, खुफिया विभाग भी इसी काम में लगा हुआ है। नीलम हिसार के एक पीजी में रहकर पढ़ाई कर रही थी। उसने बीए, एमए, एमफिल, नेट, सीटेट और एचटेट पास किया हुआ है। वह फिलहाल हरियाणा सिविल सर्विसेज की तैयारी कर रही थी।
वह कैसे दिल्ली पहुंची और संसद भवन में स्मॉग फैलाने वालों के संपर्क में आई, इसकी जांच जारी है। नीलम की मां सरस्वती को भी नहीं पता कि वह दिल्ली कैसे पहुंची। घरवालों को वह हिसार जाने की बात कहकर 25 नवंबर को निकली थी। जींद पुलिस नीलम का पूरा रिकाॅर्ड खंगाल रही है। वह किस संगठन से जुड़ी हुई थी और किस-किससे बातचीत करती थी। गांव में कौन-कौन लोग उसके संपर्क में थे, इन सभी बिंदुओं की जांच पुलिस कर रही है। नीलम के बारे में सभी प्रकार की जानकारी जुटाई जा रही है। वह संसद में घुसने वाले लोगों के संपर्क में कैसे आई और उन्होंने यह योजना कैसे बनाई।